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अगले 24 से 36 घंटे में इन राज्यो में भारी बारिश की संभावना – यहां देखे नाम

जाते हुए मानसून की मूसलाधार बारिश का असर साफ दिखाई दे रहा है। बीते 24 घंटों के दौरान उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, पंजाब और हरियाणा के साथ-साथ तमिलनाडु, आंतरिक कर्नाटक और रायलसीमा के कुछ हिस्सों में हल्की बारिश देखने को मिली। मौसम के जानकारों का कहना है कि अगले 24 से 36 घंटों में कई राज्‍यों में भारी बारिश हो सकती है। कहीं-कहीं पर हल्‍की से मध्‍यम बारिश हो सकती है। अगले 24 घंटों के दौरान गंगीय पश्चिम बंगाल, ओडिशा, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, तमिलनाडु और मराठवाड़ा में कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है। भारत मौसम विभाग (IMD) का अनुमान के अनुसार अलवर, कोटपुतली, तिजारा, महंदीपुर बालाजी, नगर, देग, नदबई, भरतपुर, लोहारू, सादुलपुर, चूरू (राजस्थान में), भिवानी, तोशाम (हरियाणा में) बारिश के आसार हैं।

जानियेअगले 24 घंटोंकाअनुमान

– अगले 24 घंटों के दौरान केरल, दक्षिण-पश्चिमी मध्य प्रदेश, जम्मू कश्मीर, गिलगित बाल्टिस्तान, मुजफ्फराबाद, बिहार के कुछ हिस्सों और विदर्भ के कुछ क्षेत्रो में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है।

– अगले 24 घंटों के दौरान उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम और पूर्वोत्तर भारत में कुछ स्थानों पर मध्यम से भारी बारिश जारी रहने की संभावना है।

– अगले 24 घंटों के दौरान बिहार, उत्तर प्रदेश के पूर्वी और मध्य भागों, मध्य प्रदेश के उत्तरी और मध्य हिस्सों, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम, असम, मुंबई समेत कोंकण गोवा में मध्यम से भारी बारिश होने की संभावना है।

– अगले 24 घंटों के दौरान पूर्वोत्तर भारत, विदर्भ, मराठवाड़ा और मध्य महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों में, दक्षिणी गुजरात में में हल्की से मध्यम बारिश के साथ एक-दो स्थानों पर तेज़ वर्षा हो सकती है।

– अगले 24 घंटों के दौरान तटीय कर्नाटक, केरल, ओडिशा, छत्तीसगढ़ और झारखंड में भी गर्जना के साथ हल्की बारिश के बीच एक-दो स्थानों पर मध्यम बौछारें गिरने की संभावना है।

– अगले 24 घंटों के दौरान हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, राजस्थान, हरियाणा और उत्तर पश्चिमी उत्तर प्रदेश में हल्की बारिश संभव है। आंतरिक कर्नाटक, तेलंगाना और तमिलनाडु में बूँदाबाँदी या हल्की वर्षा अपेक्षित है।

इनराज्‍योंमेंविदाहोनेवालाहैमानसून

पश्चिमी राजस्थान के बाद अगले कुछ ही दिनों में मॉनसून जम्मू कश्मीर, लद्दाख, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली और पश्चिमी उत्तर प्रदेश को भी अलविदा कह जाएगा।

निम्न दबाव का क्षेत्र अब पूर्वी मध्य प्रदेश और इससे सटे भागों पर पहुँच गया है। इसके साथ-साथ आगे बढ़ रहा चक्रवाती हवाओं का क्षेत्र समुद्र तल से 5.8 किमी ऊंचाई पर है। मॉनसून की अक्षीय रेखा जैसलमेर, अजमेर, भीलवाड़ा, ग्वालियर, मध्य प्रदेश पर बने कम दबाव के क्षेत्र से होते हुए डाल्टनगंज, बांकुरा और बंगाल की खाड़ी के उत्तरी भागों पर बनी हुई है।

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